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सांस्कृतिक, पीढ़ीगत अंतर को पाटने का प्रयास कर रही हूं : सोना

गायिका सोना मोहापात्रा ने कलाकार असित कुमार पटनायक के साथ अपना नया गीत ‘नित खैर मंगा’ जारी किया है। उनका कहना है कि यह हमारी भविष्य की पीढ़ी के लिए हमारी सांस्कृतिक जड़ की विरासत और परंपरा को जीवित रखने का एक तरीका है।

सोना ने आईएएनएस को बताया, “यह एकमात्र ऐसा संगीत नहीं है जो मैं करती हूं, लेकिन हां मैं कुछ क्लासिक्स को रीइंटरप्रेट करने में विश्वास करती हूं, चाहे वह सुफियाना कलाम हो या लोक संगीत हो। इसे एक नए साउंडस्केप में और नए युग के लिए पेश करना ही हमारा विचार है। मुझे लगता है कि यह अंतर को पाटने और नई पीढ़ी के लिए अपनी परंपरा को जिंदा रखने में हमारी मदद करता है। मैं ऐसा संगीत एक कलाकार के रूप में प्रासंगिक होने के लिए भी करती हूं।”

इससे पहले इस गीत को प्रसिद्ध सूफी गायक उस्ताद नुसरत फतेह अली खान द्वारा गाया गया था और रिकॉर्ड किया गया था।

सोना ने आगे कहा, “मुझे यह भी लगता है कि मुझे युवा लोगों से घिरा रहना पसंद है। उनके साथ रहकर मैंने यह देखा है कि हमारी जड़ों से एक सांस्कृतिक बहाव है, और यह हर दिन और अधिक होता जा रहा है। हमारी संस्कृति हमें एक विशिष्ट पहचान देती है।”

इससे पहले भी सोना ‘पिया से नैना’, ‘रंगबती’, ‘अनहद नाद’ जैसे पारंपरिक गीतों को री-इंटरप्रिटेड कर चुकी हैं।

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