उत्तर प्रदेश सरकार ने मुस्लिम समाज के प्रमुख त्योहार ईद-उल-अजहा (बकरीद) को लेकर विशेष दिशा-निर्देश जारी किए हैं। इस वर्ष कोरोना के प्रकोप को देखते हुए पुलिस और प्रशासन को अतिरिक्त सतर्कता बरने के लिए कहा गया है। घर पर ही त्योहार मनाने को कहा गया है और सामूहिक रूप से नमाज अदा करने की मनाही है।
पुलिस निदेशक कार्यालय की तरफ से सभी जिलों के एसएसएपी और एसपी को विशेष दिशा-निर्देश जारी किए हैं। कोरोना संक्रमण के डर से सभी धार्मिक स्थलों के लिए भी निर्देश जारी किए गए हैं। किसी भी धार्मिक स्थल में सामूहिक रूप से भीड़ इकट्ठा न होने देने की हिदायत दी गई है। साथ ही धर्मगुरुओं से कहा गया है कि बकरीद का त्योहार घर पर मनाएं। लोगों को सामूहिक रूप से नमाज न अदा करने के लिए प्रेरित करें।
निर्देश है कि पुलिस लाउडस्पीकर का इस्तेमाल कर लोगों को शारीरिक दूरी का पालन करने के लिए जागरूक करे। सोशल मीडिया पर भी नजर बनाए रखें। भ्रामक सूचना प्रसारित करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए। थानाध्यक्ष और क्षेत्राधिकारी छोटी से छोटी घटना को भी गंभीरता से लें।
ईद-उल-अजहा त्योहार पर किसी की सांप्रदायिक भावनाएं आहत न हों और असामाजिक तत्व इस मौके का फायदा न उठा पाएं, इसको लेकर डीजीपी कार्यालय की ओर से सभी जिलों के पुलिस अधीक्षकों से कहा गया है कि कुर्बानी के दौरान गोवंश की हत्या से सांप्रदायिक तनाव की संभावना रहती है, इसलिए इस पर अंकुश लगाने के लिए खास ध्यान रखा जाना चाहिए।
इस साल कोरोना संकट और सावन के महीने को देखते हुए बकरीद पर जानवरों की कुर्बानी के दौरान पुलिस और प्रशासन को अतिरिक्त सतर्कता बरने के लिए कहा गया है। गैर मुस्लिम इलाकों में कुर्बानी पर प्रतिबंध लगाया गया है। कहा गया है कि नमाज के समय ईदगाहों और मस्जिदों के पास सुअरों व अन्य जानवरों को विचरण न करने दिया जाए। संवेदनशील इलाके में वीडियोग्राफी टीमों का गठन करने को कहा गया है।
गाइडलाइन में यह भी कहा गया है कि संवेदनशील क्षेत्रों को चिह्न्ति करते हुए वहां सेक्टर मजिस्ट्रेट की तैनाती की जाए।
ज्ञात हो कि ईद-उल-अजहा के चांद का मंगलवार को दीदार नहीं हो सका। ऐसे में मरकजी चांद कमेटियों के मौलानाओं ने 1 अगस्त को बकरीद मनाए जाने का ऐलान किया है। मौलानाओं ने कोरोना संक्रमण के चलते सभी से घर में ही नमाज अदा करने की अपील की है।