फ्रांस के प्रधानमंत्री जीन कास्टेस्क ने घोषणा की है कि देश 1 अगस्त से कोरोनावायरस महामारी से अत्यधिक प्रभावित 16 ‘रेड जोन’ देशों से आने वाले यात्रियों का टेस्ट करेगा। इसमें भारत भी शामिल है। समाचार एजेंसी सिन्हुआ ने शुक्रवार को यहां चार्ल्स-डी-गॉल हवाईअड्डे के दौरे के दौरान दिए गए कैस्टेक्स के बयान के हवाले से बताया कि, फ्रांसीसी सरकार ने वायरस के पुनरुत्थान के हाई रिस्क के कारण सीमाओं पर सैनिटरी सुरक्षा को मजबूत करने की योजना बनाई है।
भारत के अलावा, अन्य हाई रिस्क वाले देश अमेरिका, ब्राजील, अल्जीरिया, बहरीन, इजरायल, दक्षिण अफ्रीका, कुवैत, कतर, संयुक्त अरब अमीरात, ओमान, पनामा, पेरू, सर्बिया, तुर्की और मेडागास्कर हैं।
कास्टेक्स ने संवाददाताओं से कहा कि, हालांकि फ्रांसीसी सीमा इन देशों के लिए बंद है, इसलिए यह उपाय सिर्फ उन फ्रांसीसी नागरिकों पर लागू किया जाएगा जो वहां रहते हैं या जो इन देशों के यात्री हैं और फ्रांस में स्थाई तौर पर निवास करते हैं।
उन्होंने कहा, “हम जानते हैं कि इन देशों में टेस्ट की कोई रणनीति नहीं है और टेस्ट कराने के लिए उन तक पहुंचना मुश्किल है, इसलिए हमने आगमन के बाद उनका सामान्य टेस्ट करने का निर्णय लिया है।”
कास्टेक्स ने आगे कहा, “स्पेन के लिए फ्रांसीसी सीमा खुली रहती है, लेकिन दोनों देशों के बीच यातायात प्रवाह को सीमित करने पर चर्चा चल रही है।”
उन्होंने कहा, “कैटालोनिया में बिगड़ते सैनिटरी व्यवस्था और वहां की स्थिति को देखते हुए हम फ्रांसीसी नागरिकों को वहां जाने से बचने की सलाह देते हैं, वह भी तब तक के लिए जब तक कि वहां स्वास्थ्य में सुधार न हो।”
फ्रांस में कोविड-19 के अब तक 217,797 मामले दर्ज किए जा चुके हैं, जिसमें शुक्रवार को सामने आए नए मामले 1,130 शामिल है।
मंत्रालय के अनुसार, पिछले 24 घंटों में 10 नई मौतों के साथ यहां अब तक 30,192 लोगों ने वायरस के कारण अपनी जान गंवा दी है।